ऑफिस में छूटी टिफिन के बहाने घर बुलाकर सहकर्मी चुदी

फिर मैंने उसको अपनी गोद में उठाया और उसके बेडरूम में लेकर बेड पर लिटा दिया. फिर मैं उसके बड़े – बड़े मस्त बूब्स चूसने लगा. अब उसकी सिसकियाँ और तेज हो गई थीं और वो ‘आह अखिल आह, और तेज चूसो अखिल और तेज, ऊंह आह ऊंह’ कर रही थी…

हेलो दोस्तों, मेरा नाम अखिल है और मैं राजस्थान के जयपुर का रहने वाला हूँ. दोस्तों, मेरी उम्र अभी 29 साल है. मैं अन्तर्वासना का नियमित पाठक हूँ और इसकी हर कहानी को पढ़ता हूँ.

मेरे साथ घटी यह एक सच्ची घटना है जप करीब 5 साल पहले की है. उस समय मैं एक प्राइवेट कम्पनी में काम करता था. दोस्तों, मुझे किताब पढ़ने का शौक हमेशा से रहा है. हमारी कंपनी में एक लाइब्रेरी थी. अपने शौक के कारण टाइम मिलने पर मैं अक्सर वहां किताबें पढ़ने चला जाया करता था.

वहां पर एक महिला भी थीं, उन्हें भी मेरी ही तरह किताबें पढ़ना पसन्द था. वो केरल की रहने वाली थीं. उनका नाम अम्बिका था और रंग सांवला सा था. उनकी उम्र करीब 32 साल की थी और बॉडी बिलकुल ही स्लिम थी.

लाइब्रेरी में वो भी किताबें पढ़ने के लिए आया करती थीं. जब मैं लाइब्रेरी में होता और वह वहां आतीं तो उन्हें देख कर नॉर्मली मैं मुस्कुरा देता था और मुझे मुस्कुराते देख वो भी अपनी मुस्कान बिखेर देती थीं.

ऐसे ही चलता रहा और कुछ समय बाद हम दोनों में बातचीत होने लगी. बातचीत से पता चला कि वो शादीशुदा थीं और उनका हसबैंड दिल्ली के एक अस्पताल में कंपाउंडर है और वह महीने में 1-2 बार ही अपनी पत्नी से मिलने जयपुर आता है. खैर, इसी तरह धीरे – धीरे हमारे बीच दोस्ती हो गई.

एक दिन वो ऑफिस नहीं आईं. बाद में उन्होंने मुझे फ़ोन किया और बोलीं कि कल मैं ऑफिस में अपना टिफ़िन भूल आई थी, अगर तुम्हें कोई दिक्कत न हो तो आते समय मेरा टिफिन लेते आना तो मैंने हां कर दिया.

फिर शाम को मैंने उन्हें फोन किया औए घर का पता पूछ कर टिफिन देने उसके घर चला गया. फिर मैंने उसके दरवाजे पर पहुंच कर घण्टी बजाई तो उसने दरवाजा खोला और मुझे अंदर आने के लिए बोला. इस पर मैंने उसे टिफिन देते हुए अंदर जाने से मना किया तो उसने कहा कि कम से कम इस काम के लिए थैंक्स कहने का मौका तो दो. अब तुम्हें चाय तो पीकर ही जाना पड़ेगा.

फिर मैं मान गया और अंदर चला गया. अंदर जा कर मैं हाल में रखी कुर्सी पर बैठ गया. फिर वो मेरे और अपने लिए चाय बनाने चली गई. जब वो चाय लेकर आई तो उसने कहा कि अखिल मेरी वजह से तुम्हें परेशानी तो नहीं हुई? इस पर मैंने कहा कि नहीं कोई परेशानी नहीं हुई और यारी दोस्ती में सब जायज है.

यह सुन कर वो बोली, सिर्फ दोस्ती या कुछ और? तो मैंने कहा कि क्या मतलब है आपका मैं समझा नहीं? तो वो मुस्कुरा कर बोली, “जाने दो, तुम अब बच्चे नहीं हो कि मेरी बात न समझो.” उसकी ऐसी बातें सुन कर मैं उसी वक्त समझ गया कि चुदाई करने का मौका जल्द ही मिलने वाला है. खैर, मैंने अनजान बनते हुए कहा कि सच में मुझे कुछ समझ में नहीं आ रहा है.

इस पर वो कि ठीक है, मैं समझाती हूँ. इसके बाद उसने अपना चाय का कप साइड में रखा और मेरी जांघों पर आकर बैठ गई. अब मैं कुछ समझ पाता कि इससे पहले ही उसने मेरे होंठों के ऊपर अपने होंठ रख दिए और उन्हें चूसने लगी.

काफी देर तक मेरे होंठ चूसने के बाद वह बोली, “अब आया समझ में या नहीं?” इस पर मैंने मज़ाक में ही कह दिया कि ज्यादा तो समझ में नहीं आया! तो उसने कहा, “अच्छा बच्चू!” और फिर उसने मेरे पैंट की जिप खोली और मेरे लन्ड को बाहर निकाल कर चूसने लगी.

तकरीबन 10 मिनट तक वो मेरे लन्ड को चूसती रही. दोस्तों, इस खेल में तब मैं नया – नया था तो जल्दी ही मेरे लन्ड ने उसके मुंह में अपना पानी छोड़ दिया. जिसे वो पी गई.

फिर उसने मेरे लन्ड को छोड़ा और अपना मुंह पोंछते हुए बोली, “आज तक किसी के साथ सेक्स किया है?” उसके इस सवाल पर मैं बोला कि नहीं, आज पहली बार है. तो वो बोली कि कोई नहीं आज मैं तुम्हारी सारी इच्छाओं को पूरा कर दूंगी और इतना कहने के बाद वो फिर से मेरे लन्ड को चूसने लगी.

कुछ समय बाद मेरा लन्ड फिर से तैयार हो गया और फिर मैंने उसके सारे कपड़े उतार दिए. अब वो मेरे सामने बिल्कुल नग्न अवस्था में खड़ी थी.

दोस्तों, उस दिन पहली बार मैंने किसी और की चूत को इतने नज़दीक से देखा था. फिर मैंने उसकी चूत में उंगली डाली धीरे – धीरे अंदर – बाहर करने लगा. जिससे वो हल्की – हल्की सिसकियां लेने लगी. उसके मुंह से ‘आह आह ऊह ऊह’ की आवाजें लगातार नील रही थीं.

फिर मैंने उसको अपनी गोद में उठाया और उसके बेडरूम में लेकर बेड पर लिटा दिया. फिर मैं उसके बड़े – बड़े मस्त बूब्स चूसने लगा. अब उसकी सिसकियाँ और तेज हो गई थीं और वो ‘आह अखिल आह, और तेज चूसो अखिल और तेज, ऊंह आह ऊंह’ कर रही थी.

कुछ देर बाद फिर वो पागलों की तरह मुझे चूमने लगी और फिर मुझसे बोली, ” फक मी अखिल फक मी”. उसकी बातें सुब कर मैं भी ताव में आ गया और फिर मैं उसकी चूत को और बुरी तरह चाटने लगा. तभी उसने अपनी जांघों से मेरे मुंह को दबा दिया और बोली, “चाटो मेरी जान चाटो, कब से मैं तुमसे चुदने के लिए बेकरार थी, मेरी प्यास बुझाओ आज, और तेज चाटो अखिल और तेज.”

फिर मैंने भी अपनी स्पीड बधाई और तेजी से उसकी चूत को चाटने लगा. कुछ देर बाद फिर मैंने भी अपने कपड़े खोल दिए अब वो मेरा लौड़ा बाहर देख कर उसे मुंह में ले लिया और तेजी से उसे चूसने लगी.

कुछ देर तक उससे लौड़ा चुसवाने के बाद मैं सीधा हुआ और अपना लम्बा लन्ड उसकी काली चूत में डाल दिया. दोस्तों, उसकी चूत एक दम गीली हो चुकी थी, इसलिए मेरे लन्ड को अंदर जाने में बहुत ज्यादा दिक्कत नहीं हुई.

मेरा लन्ड अंदर जाने के बाद मानो वह जन्नत में पहुंच गई हो. अब वह और तेजी से सिसकियां भरने लगी. साथ ही वह ‘आह आह यस डिअर अखिल आह, आह उह और तेजी से करो अखिल और तेजी से और आज तुम मुझे बुरी तरह चोदो, फाड़ दो मेरी चूत को, कम ऑन अखिल फास्ट, कम ऑन’ बोल रही थी.

अब मैंने भी अपनी स्पीड बढ़ा दी और उसको तेजी के साथ चोदने लगा. थोड़ी देर तक उसकी चूत चोदने के बाद मैंने उसको उल्टा किया और कहा कि मैं तुम्हारी गांड में भी अपना लन्ड डालना चाहता हूँ! इस पर वो बोली, “तुम जो भी चाहो कर सकते हो, आज से मैं पूरी तरह तुम्हारी हूँ.”

उसकी यह बात सुन कर मैंने उससे पूछा कि तेल कहाँ पर है तो वो उठी और तेल लेकर आई. जिसे मैंने उसकी गांड पर और अपने लन्ड पर लगाया. फिर मैंने उसकी गांड पर लन्ड को सेट किया और तीन – चार झटके में मेरा लन्ड उसकी गांड में घुस गया. गांड में लन्ड जाने से उसके मुंह से हल्की सी चीख निकली और वो बोली, “आह अखिल! थोड़ा सा पेन हो रहा है.” इस पर मैंने कहा कि कुछ नहीं बस अभी ठीक हो जाएगा और फिर मैंने धीरे – धीरे अपनी स्पीड को बढ़ा दिया.

दोस्तों, गांड में लन्ड डालने का सुख कुछ अलग ही थी. कुछ देर बाद उसे मज़ा आने लगा और वो बोलने लगी, “अखिल फास्ट और फास्ट, आज तुम मुझ पर बिल्कुल भी रहम न करना, आह तेज अखिल तेज, और तेज!”

अब मैं भी तेजी से उसकी गांड में धक्के मारने लगा. जिस कारण हम दोनों के मुंह से तेज – तेज सिसकियां निकल रही थी. फिर कुछ देर बाद मैंने अपना सारा पानी उसकी गांड में ही निकाल दिया और फिर उसके ऊपर उल्टा ही लेट गया.

इसके बाद मैं उठा और जाने लगा तो वो बोली कि अखिल आज यहीं रुक जाओ न! तो मैं उसकी बात मान गया और रुक गया. इसके बाद रात में मैंने उसे खूब चोदा. मेरी चुदाई से वो पूरी तरह संतुष्ट थी.

दोस्तों, आप सब को मेरी यह पहली कहानी कैसी लगी? मुझे मेल करके जरूर बताएं. मुझे आप सभी के मेल का इंतजार रहेगा. मेरी मेल आईडी – [email protected]