कभी-कभी जीवन के सबसे सुहाने पल एक हवा के झोंके की तरह आते हैं…….और फिर वही झोंका उन पलों को अपने साथ बहा कर हमारी यादों की तिजोरी में छोड़ जाता है. जसनीत ! एक ऐसे ही हवा के झोंके की तरह मेरी जिन्दगी में आयी और यादगार बन कर रह गयी…..
मेरा नाम निखिल है और इस समय में दिल्ली में रहता हूँ. मुझे अन्तर्वासना पर कहानियाँ पढ़ने का बहुत शौक है. ज्यादा समय बर्बाद ना करते हुए मैं सीधा स्टोरी पे आता हूँ.
बात उस समय की हैं जब मैं ग्रेजुएशन के फर्स्ट ईयर में था. घर की आर्थिक स्थिति थोड़ी खराब रहने के कारण मैं चंडीगढ़ के एक कॉल सेंटर में काम करता था. दिन भर बहुत ही फोन कॉल्स आते थे. पर एक दिन एक लड़की का फोन आया, नाम था जसनीत. वो जालंधर से थी. उसका बैलेंस बार-बार कट जाता था जिसके कारण उसने कॉल किया था. उसकी आवाज़ इतनी मीठी थी की, मन किया कि इसकी समस्या का समाधान तो जरूर करना चाहिए.
इसलिए मैने अपने पर्सनल फोन से उसको कॉल किया और बताया की मैं निखिल बोल रहा हूँ. एयरटेल से! तो वो एकदम चुप हो गयी. मैने कहा- डरो मत! मैने तुम्हारी प्राब्लम सॉल्व करने के लिए कॉल किया है.
तो उसने कहा- मेरा बैलेंस बार-बार कट जाता है, क्या करूँ?
मैने कहा- ज्यादा चिंता मत करो! मैं ठीक कर दूँगा.
उसकी प्रॉब्लम सॉल्व करने के बाद मैंने दुबारा उसे फोन किया. उसने आभार व्यक्त किया. अगली सुबह मैंने उसे “गुड मॉर्निंग” का मैसेज किया तो बदले में उसने भी एक प्यारा सा मैसेज किया. फिर हम लगभग रोज बात करने लगे. धीरे- धीरे हम में दोस्ती हो गयी.
एक दिन उसका कॉल आया की वो मुझसे मिलना चाहती है. मैं तो कब से इस दिन का इन्तजार कर रहा था. मैने तुरंत हाँ कर दी. हमारा अगले दिन मिलने का प्रोग्राम हुआ. चंडीगढ़ में, उसके आने के इंतेज़ार में मैं सारी रात सोया ही नहीं. फिर अगले दिन ठीक सुबह 7 बजे, मै सेक्टर 17 के बस स्टैंड पे पहुँच गया. उसकी बस 8 बजे आनी थी पर उसको देखने के लिए मैं इतना बेताब था की इन्तजार नही हो पा रहा था. तब तक मैने एक सिगरेट जलाई और पीने लगा. ठीक 8 बजे जब बस आई, उसमे से सब उतर गये पर वो नही उतरी.
मैं उदास हो गया लेकिन थोड़ी देर बाद एक छोटी सी प्यारी सी लड़की बस से उतरी. उसने लाइट पिंक कलर की पटियाला सलवार और हल्के लेमन कलर का सूट पहना था. मैं उसको देखता ही रह गया. तभी उसने मेरी तरफ हाथ बढ़ाया और हेलो कहा. मैं जैसे सपने से बाहर आया, वो जसनीत थी.
मैने जब उसका हाथ अपने हाथो में लिया तो पता नहीं मुझे क्या हुआ? मैने उसे “आई लव यू” कह दिया. उसने कहा- ये शब्द तो मैं कबसे सुनना चाहती थी. आई लव यू टू!!
फिर वो मुझसे लिपट गयी! कसम से उसके सीने से लगते ही मेरी पूरी बॉडी में करंट दौड़ गया! क्या फिगर था उसका? 32-26-30 होंठ एकदम गुलाबी, लंबे काले बाल. मैं तो बस उसको देखे ही जा रहा था! अचानक उसने कहा- निक! क्या देख रहे हो?
मैने कहा- तुम्हे! मन नहीं कर रहा नज़र हटाने का!
तो उसने कहा- चलो पहले होटल चलते हैं, वहीँ बात करेंगे!
हमने एक टैक्सी बुक की और होटल चल दिए. सारे रास्ते में, मैं उसे ही देखता रहा.
उसने कहा – यहीं देखने का इरादा है या होटल चलकर भी कुछ देखोगे?
उसकी इस बात ने मुझे अन्दर तक गुदगुदा दिया. मैं मन ही मन खुश हो रहा था कि आज शायद उसे चोद्ने की मुराद भी पूरी हो जाएगी!
उसने ताज होटल में कमरा बुक कराया था. वेटर ने हमारा स्वागत किया और रूम में ले गया! अंदर जाते ही उसने मुझे सीने से लगा लिया और ना जाने कब ह्मारे होंठ आपस में मिल गये, हमें पता ही नही चला! तभी उसने एक बात बताई, जिसे सुनकर मैं सन्न रह गया.
उसने कहा- निक अगले महीने मेरी शादी है. ये हमारी पहली और आखिरी मुलाकात है. लेकिन इस मुलाकात को यादगार बनाने के लिए मै तुमसे सेक्स करना चाहती हूँ!
मुझे आज तक समझ नहीं आया कि उस वक़्त मुझे उसे चोदने की ज्यादा ख़ुशी थी या उसके बिछड़ने का गम.
फिर उसने मेरे कपड़े निकालने शुरू कर दिए तो मैने भी उसका साथ देना शुरू कर दिया और उसके भी कपड़े उतारने लगा. जैसे ही मैने उसका सूट निकाला मेरी आखें फटी की फटी रह गयीं! एक हुस्न की मलिका मेरे सामने सिफ्र रेड ब्रा और पैंटी में थी! उसके बाद मुझसे भी कंट्रोल नही हुआ. मैने तुरंत उसकी ब्रा और पैंटी भी निकाल दी. अब हम दोनो बिल्कुल नंगे थे. जैसे ही मेरा ध्यान उसकी चूत की तरफ गया, मुझे जैसे करंट लगा.
एक दम चिकनी शेव की हुई चूत मेरे सामने थी. वो पूरी तैयारी से आयी थी. मैने देर ना करते हुए उसको गोद में उठाया और बेड पे ले गया. उसको लिटाने के बाद मैं सीधा उसकी चूत पे मुँह लगा दिया. वो एकदम से चिहुंक उठी. फिर हम 69 की पोजीशन में आ गये! मेरा लंड ज़्यादा बड़ा तो नही है, 5 इंच का ही है पर थोड़ा मोटा है. उसने एकदम उसे मुह में लेने की कोशिश की लेकिन मेरा मोटा लंड उसके मुँह में भी काफी कसावट महसूस कर रहा था.
पहली बार किसी लड़की ने मेरा लंड मुह में लिया था. मैं जन्नत में था. ये उत्तेजना मैं सहन नहीं कर पाया और जल्दी झड़ गया. उसने धीरे से लंड हाथ में लिया और चूस-चूस कर साफ़ कर दिया. फिर वो उसे दोबारा खड़ा करने लगी. तुरंत ही मेरा लंड फिर से खड़ा हो गया. इस बार मैने देर ना करते हुए लंड को उसकी चूत के मुँह पे रखा और एक जोरदार धक्का दिया. लेकिन लंड फिसल गया.
मैने साथ में रखी ड्रावर में से तेल की शीशी निकाली और थोड़ा तेल उसकी चूत और थोड़ा अपने लंड पे लगाया! और फिर लंड को उसकी चूत पे रखकर एक जोरदार धक्का दिया. लंड आधा उसकी चूत में घुस गया. उसकी एकदम से चीख निकल गयी. मैने तुरंत उसके होंठो को अपने होंठो में ले लिया ताकि आवाज़ बाहर ना जाए. उसकी आँखो से आँसू निकल आए थे. फिर मैने उसके बूब्स को मुँह में लेके चूसना शुरू कर दिया.
जैसे ही वो नॉर्मल हुई, उसने नीचे से हिलना शुरू किया. मै समझ गया कि अब वो तैयार है, तो मैने एक और धक्का दिया और पूरा लंड उसकी चूत में उतार दिया उसकी फिर से चीख निकल गयी!
फिर मै नहीं रुका और उसको 20 मिनट तक चोदता रहा. उसके बाद जब मै झड़ने वाला हुआ तो मैने पूछा – कहाँ निकालूँ?
उसने कहा- अन्दर ही डाल दो!
जब तक की मैं अपना वीर्य निकालता उसने मुझे जोर से पकड़ लिया और अपनी गांड उछालने लगी. शायद वो भी मेरे साथ ही झड़ रही थी.
वासना का तूफ़ान गुजरने के बाद मैंने उससे पूछा- कैसा लगा?
उसने कहा- इस प्यार को मैं ज़िंदगी भर नही भूल सकती!
उसके बाद जब हम उठे तो देखा की बेड पे खून लगा हुआ था, ह्मने जल्दी से कपड़े पहने और वहाँ से निकल गये. उसको चलने में थोड़ी प्राब्लम हो रही थी तो रास्ते से मैने उसे एक पेन किलर लाकर दी!
फिर उसको जालंधर की बस में बिठा दिया. लेकिन फिर उसका नम्बर हमेशा के लिए बंद होगया और फिर आज तक हमारी बात नही हुई है. आज मै भी शादी-शुदा हूँ! पर उसकी याद सताती है!
आप लोगो को मेरी कहानी कैसी लगी ज़रूर बताएगा….. मेरी email ID है………….